🔰 प्रस्तावना: अब घर खरीदना नहीं रहा सपना
हर नौकरीपेशा व्यक्ति का सपना होता है कि वह अपने परिवार के लिए एक पक्का घर ले। लेकिन आज के दौर में घर खरीदना किसी चुनौती से कम नहीं, खासकर जब डाउनपेमेंट की बात आती है। अब ईपीएफओ (EPFO) ने एक ऐसा बदलाव किया है, जो इस सपने को हकीकत में बदलने की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है।
ईपीएफ स्कीम, 1952 के पैरा 68-BD में संशोधन के बाद अब कर्मचारी अपने पीएफ खाते से घर खरीदने के लिए 90% तक राशि निकाल सकते हैं। इससे न केवल डाउन पेमेंट में राहत मिलेगी, बल्कि होम लोन की EMI भुगतान में भी मदद मिल सकेगी।
🏗️ क्या है नया नियम: पैरा 68-BD का विस्तार

✅ मुख्य बिंदु:
- अब पीएफ खाता खोलने के सिर्फ 3 साल बाद सदस्य घर खरीदने के लिए निकासी कर सकते हैं।
- पहले यह अवधि 5 साल थी।
- सदस्य अब खाते में मौजूद राशि का 90% तक निकाल सकते हैं।
- इस राशि का इस्तेमाल किया जा सकता है:
- घर या फ्लैट की बुकिंग के लिए
- बिल्डर या एजेंसी को डाउन पेमेंट देने के लिए
- EMI के भुगतान के लिए (जॉइंट अकाउंट होल्डर के रूप में भी)
🧾 महत्वपूर्ण शर्तें:
- यह सुविधा सिर्फ एक बार दी जाती है — यानी, जीवन में केवल एक बार निकासी की अनुमति है।
- निकासी का उद्देश्य केवल आवासीय संपत्ति के लिए होना चाहिए — वाणिज्यिक संपत्तियों पर लागू नहीं।
- सदस्य को EPFO से मान्यता प्राप्त संस्था या हाउसिंग सोसाइटी के माध्यम से आवेदन करना होगा।
🧮 किस तरह निकाली जा सकती है राशि?

नीचे एक उदाहरण से समझें:
विवरण | राशि |
---|---|
कुल पीएफ बैलेंस | ₹10,00,000 |
90% निकासी सीमा | ₹9,00,000 |
घर का मूल्य | ₹30,00,000 |
डाउन पेमेंट आवश्यक | ₹6,00,000 |
PF निकासी से भुगतान | ₹6,00,000 (Downpayment) + ₹3,00,000 (EMI सपोर्ट) |
🏢 रियल एस्टेट मार्केट पर संभावित असर
ईपीएफओ के इस कदम से रियल एस्टेट क्षेत्र में मध्यम वर्ग और नौकरीपेशा वर्ग की भागीदारी में वृद्धि की संभावना है। विशेषज्ञों का मानना है कि:
- फ्लैट्स और अफोर्डेबल हाउसिंग की मांग में बढ़ोतरी होगी।
- Tier-2 और Tier-3 शहरों में रियल एस्टेट का पुनर्जागरण होगा।
- डेवलपर्स की बिक्री में तेजी आएगी, जिससे कंस्ट्रक्शन सेक्टर को भी गति मिलेगी।
🔧 ऑटो सेटलमेंट सीमा में बदलाव
ईपीएफओ ने घर खरीद के साथ-साथ क्लेम प्रोसेस को भी आसान बना दिया है:
🚀 अब ये नई सहूलियतें मिलेंगी:
सुविधा | पहले | अब |
---|---|---|
ऑटो सेटलमेंट सीमा | ₹1 लाख | ₹5 लाख |
दस्तावेज वैरिफिकेशन | 27 मापदंड | 18 मापदंड |
क्लेम निपटान समय | 10-15 दिन | 3-4 दिन (95% मामलों में) |
इससे नौकरीपेशा लोगों को तेजी से पैसा मिलने की गारंटी मिलती है और उन्हें लंबा इंतजार नहीं करना पड़ता।
👩👩👦👦 कितने लोगों को होगा सीधा फायदा?
- EPFO के पास 7.5 करोड़ से अधिक सक्रिय सदस्य हैं।
- हर महीने लगभग 10-12 लाख नए सदस्य जुड़ते हैं।
- माना जा रहा है कि आने वाले वर्षों में लगभग 1 करोड़ से ज्यादा सदस्य इस सुविधा का लाभ ले सकते हैं।
🧠 विशेषज्ञों की राय
🧑💼 रियल एस्टेट सलाहकार, अजय मिश्रा:
“यह बहुत समय से आवश्यक बदलाव था। ईपीएफ अकाउंट में जमा धन का सही उपयोग तभी है जब लोग इसका इस्तेमाल जीवन की बड़ी जरूरतों के लिए कर सकें — जैसे घर खरीदना।”
🧑⚖️ सामाजिक नीति विशेषज्ञ, डॉ. सुरेखा तिवारी:
“भारत में अब भी लाखों परिवार किराए के मकानों में रहते हैं। यह नीति उन्हें स्थायी छत की ओर एक मजबूत कदम प्रदान करती है।”
💡 अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQ)
❓ क्या यह निकासी केवल फ्लैट खरीदने के लिए है?
नहीं। यह सुविधा फ्लैट, अपार्टमेंट, प्लॉट, या पहले से बने घर — किसी भी प्रकार की आवासीय संपत्ति के लिए मान्य है।
❓ क्या लोन की EMI का भुगतान PF से किया जा सकता है?
हाँ, आप 90% निकासी से EMI भुगतान भी कर सकते हैं — लेकिन यह सुविधा भी एक बार के लिए ही मान्य है।
❓ क्या यह सुविधा पति-पत्नी दोनों को मिलेगी?
अगर दोनों EPFO सदस्य हैं, तो संयुक्त स्वामित्व में घर खरीदने पर दोनों अपने PF खातों से निकासी कर सकते हैं।
❓ क्या यह नियम निजी क्षेत्र के कर्मचारियों पर भी लागू होता है?
हाँ, यह सुविधा सभी EPFO पंजीकृत कर्मचारियों (सरकारी और निजी) पर समान रूप से लागू होती है।
📜 आवेदन कैसे करें?
- EPFO की वेबसाइट पर लॉगिन करें – https://www.epfindia.gov.in
- UAN और OTP के जरिए वेरिफिकेशन करें
- “Claim” विकल्प में जाकर Form 31 चुनें
- निकासी का कारण “Housing” चुनें
- आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें (एग्रीमेंट, आईडी प्रूफ आदि)
- सबमिट करें और स्थिति ट्रैक करें
🔚 निष्कर्ष: घर अब सपना नहीं, हकीकत है
भारत में एक बहुत बड़ा वर्ग ऐसा है जो अपने ईपीएफ फंड को सिर्फ रिटायरमेंट के लिए बचाकर रखता है, लेकिन अब समय है इसे समझदारी से प्रयोग करने का। अगर आप नौकरी में हैं, 3 साल पूरे कर चुके हैं और घर खरीदने का सपना देख रहे हैं — तो यह मौका है।
EPFO का यह बदलाव न केवल आर्थिक रूप से कारगर है बल्कि यह सामाजिक और भावनात्मक तौर पर भी लाखों भारतीयों के जीवन को छूता है। यह उन सपनों को साकार करने में मदद करता है जो वर्षों से ‘एक घर’ की कल्पना में बंद थे।
यह भी पढ़ें-लॉर्ड्स:39 साल का सूखा खत्म, टेस्ट में भारत की ऐतिहासिक गूंज